छिंदवाड़ा । मध्यप्रदेश में जहरीले कफ सिरप से 22 बच्चों की मौत के मामले में चेन्नई से गिरफ्तार दवा कंपनी श्रीसन फार्मास्युटिकल्स के मालिक गोविंदन रंगनाथन को एसआईटी ने गिरफ्तार कर लिया. रंगनाथन को छिंदवाड़ा जिले के परासिया के कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट परिसर के बाहर पुलिस का कड़ा पहरा है. इससे पहले रंगनाथन को चेन्नई से नागपुर तक मध्य प्रदेश एसआईटी की टीम फ्लाइट से लेकर पहुंची. नागपुर एयरपोर्ट से सुबह करीब 7 बजे कड़ी पुलिस सुरक्षा में रंगनाथन को कार से छिंदवाड़ा लाया गया.
हिरासत में लेकर पूछताछ करेगी एसआईटी
नागपुर से गाड़ियों के काफिले के बीच रंगनाथन को छिंदवाड़ा लाया गया. पुलिस सूत्रों के अनुसार दवा कंपनी के मालिक को पुलिस रिमांड पर लेने के लिए अदालत से दरख्वास्त की जाएगी. हिरासत में लेकर रंगनाथन से जहरीले कफ सिरप को लेकर विभिन्न एंगल से पूछताछ की जाएगी. इस दौरान पूछा जाएगा कि कोल्ड्रिफ कफ सिरप बनाने में किस प्रकार अनियमितता की गई. इसके साथ ही मध्य प्रदेश में इस जहरीले कफ सिरप को बेचने के लिए किन-किन लोगों का सहारा लिया गया।
लगातार लोकेशन बदल रहा था रंगनाथन, चेन्नई में दबोचा
मध्य प्रदेश में जहरीले कफ सिरप से बच्चों की मौतों का आंकड़ा बढ़ते ही मुख्य आरोपी श्रीसन फार्मास्युटिकल्स के मालिक रंगनाथन गोविंदन रंगनाथन अंडरग्राउंड चल रहा था. बताया जाता है रंगनाथन विदेश भागने की फिराक में था. लेकिन मध्य प्रदेश एसआईटी की टीम ने कड़ी मशक्कत करने के बाद रंगनाथन को चेन्नई से गिरफ्तार कर लिया. रंगनाथन को पकड़ने के लिए छिंदवाड़ा पुलिस ने 12 सदस्यों की एसआईटी टीम गठित की, जिसमें से 6 सदस्य तमिलनाडु के चेन्नई गिरफ्तार करने गए. आरोपी रंगनाथन ने गिरफ्तारी से बचने के लिए लगातार अपनी लोकेशन बदली।
कोर्ट में पेश करने से पहले मेडिकल
छिंदवाड़ा एसपी अजय पांडे ने बताया है ष्परासिया थाने में एक आरोपी के खिलाफ जो जरूरी प्रक्रियाएं होती है, वह की जा रही है. इसके बाद सिविल हॉस्पिटल परासिया में मेडिकल चेकअप कराया जाएगा. मेडिकल के बाद सिविल कोर्ट परासिया में पेश कर पुलिस आगे की पूछताछ के लिए आरोपी की रिमांड मांगेगी. अगर न्यायालय रिमांड देता है तो मामले से संबंधित पूछताछ की जाएगी, जिसमें कई खुलासा होने की उम्मीद है. वहीं, पर्चा लिखने वाला डॉक्टर प्रवीण सोनी पहले से ही न्यायिक हिरासत में है.
जहरीले कफ सिरप से अब तक 22 बच्चों की मौत
मध्य प्रदेश में जहरीली कफ सिरप से अब तक 22 बच्चे मौत का शिकार हो चुके हैं. इनमें 19 बच्चे छिंदवाड़ा जिले के, दो बैतूल और एक बच्चा पाढुर्ना का है. इस कांड से मध्य प्रदेश सरकार बचाव की मुद्रा में है, साथ ही जिम्मेदारों के खिलाफ ताबड़तोड़ कार्रवाई की जा रही है. अभी भी जहरीले सिरप के शिकार 5 बच्चे गंभीर हालत में नागपुर के विभिन्न अस्पताल में उपचाररत हैं. गुरुवार को इन बच्चों को देखने के लिए मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव नागपुर पहुंचे थे.
अब तक कई अफसरों पर गिर चुकी है गाज
बच्चों की मौत के मामले में सरकार ने कड़ी कार्रवाई करते हुए तीन अधिकारियों – उप-औषधि नियंत्रक-नियंत्रण प्राधिकारी औषधि प्रशासन भोपाल शोभित कोष्टा, औषधि निरीक्षक जबलपुर शरद जैन और औषधि निरीक्षक छिंदवाड़ा गौरव शर्मा को निलंबित कर दिया है. फूड एंड ड्रग कंट्रोलर का ट्रांसफर कर दिया गया है।
एसआईटी को मिली कफ सिरप कंपनी के मालिक रंगनाथन की 10 दिनों तक रिमांड
